जबलपुर । एल्गिन अस्पताल में रविवार को विश्व पेशेंट शेμटी डे पर कार्यशाला का आयोजन किया गया। इसका मुख्य उद्देश्य चिकित्सा स्टाफ में प्रवीणता लाना एवं उन्हें और सजग करना है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्लयूएचओ) की रिपोर्ट के अनुसार चिकित्सालय में भर्ती होने वाले हर 10 में से एक मरीज को सुरक्षा का नुकसान होता है। इस संबंध में अधीक्षक व जॉग्स की अध्यक्ष डॉ. निशा साहू ने कहा कि ऐसी स्थिति में हम चिकित्सक और स्आफ को शासन और डब्ल्यूएचओ की दी गई गाइड लाइन पर काम करते हुए पेशेंट शेμटी पर अब फोकस करना होगा। इस मौके पर आरएमओ डॉ. संजय मिश्रा ने अस्पताल में भर्ती मरीज को रजिस्टर्ड करने के बाद उसकी स्पेशल आईडी देने पर जोर दिया। उन्होंने कहा छोटी-छोटी गलतियों से कई बार मरीज को बड़ी समस्या का सामना करना पड़ता है। लिहाजा हमें इन पर विशेष ध्यान देना होगा। संगोष्ठी में डॉ. इंदुमति विश्वकर्मा, डॉ. रश्मि कुरारिया, डॉ. भावना मिश्रा, डॉ. रश्मि भटनागर, डॉ. शिखा भटनागर, डॉ. छवि श्रीवास्तव सहित स्टाफ, नर्सेस और मरीजों के परिजन उपस्थित रहे।
ये बरतीं जाएं सावधानियां
मरीज की विशेष पहचान के लिए हो आईडी। मरीज का प्रिसक्प्रिशन साफ और स्पष्ट होना चाहिए। हॉस्पिटल स्टाफ को मरीजों की सुरक्षा के लिए ट्रेनिंग देना जरूरी है। अस्पताल का रखरखाव ऐसा होना चाहिए, जिससे मरीज को उससे नुकसान न हो। अस्पताल में साइन बोर्ड सही तरीके से लगे होने चाहिए, ताकि वह अपने निर्धारित स्थान पर पहुंचे। मरीज के अटेंडर को उसकी केयर कैसी की जाए, ताकि वह स्टाफ की मदद कर सके।
ये सुरक्षा जरूरी
कार्यशाला में स्टाफ को सारभौमिक तरीके सुरक्षा के लिए फोकस किया गया। जैसे हाथ धोने की प्रक्रिया, गलब्स का प्रयोग, मॉस्क का प्रयोग साफ चादरों का उपयोग, डिस्पोजेबल, निडिल का उपयोग। उत्तम उपकरणों का उपयोग। जैव रासयानिक का निष्पादन बेहतर ढंग से होना चाहिए।